प्रत्येक ग्रह उच्च का होने पर अधिक बलवान होता है | तत्पश्चात यदि वो मूल त्रिकोण में हो ,तो अपनी राशि में रहने की अपेक्षा अधिक बली होता है | उसके बाद स्वक्षेत्री ग्रह बलवान होता है |
---1 ---उच्च होने पर ,सर्वोच्चबली |
--2 ---मूल त्रिकोण में रहने पर -उच्चबली |
---3 ---अपने घर {नक्षत्र } में रहने पर बली |
--4 ---नीच का होने पर निर्बल |
--नौ ग्रहों {नवग्रहों } के उच्च क्षेत्रीय ,मूल त्रिकोणस्थ तथा स्वग्रही होने के सम्बन्ध में इस प्रकार से विचार करना चाहिए --
--------सूर्य ----यह सिंह राशि का स्वामी है ,अतः यदि वो सिंह राशि स्थित हो ,तो उसे स्वग्रही अथवा स्वक्षेत्रीय कहा जाता जायेगा | किन्तु यदि सिंह सूर्य राशि में स्थित हो ,तो सिंह राशि के 1 से 20 अंश तक उसका मूल त्रिकोण माना जाता है तथा -21 से 30 अंश तक स्वक्षेत्र कहा जाता है | मेष के --10 अंश तक सूर्य उच्च का तथा तुला के -10 अंश तक नीच का होता है |
----चंद्र ---यह कर्क राशि का स्वामी है ,अतः यदि वो कर्क राशि में स्थित हो ,तो उसे स्वग्रही अथवा स्वक्षेत्री कहा जायेगा | किन्तु यदि चन्द्रमा वृष राशि में स्थित हो ,तो वो वृष राशि के -3 अंश तक उच्च का तथा वृष राशि के -4 अंश से -30 अंश तक मूल त्रिकोण स्थित माना जाता है | वृश्चिक राशि के -3 अंश तक चंद्र नीच का होता है |
---मंगल --यह मेष तथा वृश्चिक राशि का स्वामी है ,अतः यदि वो मेष अथवा वृश्चिक राशि में स्थित हो ,तो उसे स्वग्रही अथवा स्वक्षेत्री कहा जायेगा | किन्तु मेष राशि के -1 से 18 अंश तक स्वक्षेत्र कहा जाता है | मकर के -28 अंश तक मंगल उच्च का तथा कर्क के -28 अंश तक नीच का होता है |
---बुध ---यह कन्या तथा मिथुन राशि का स्वामी है ,अतः यदि बुध कन्या अथवा मिथुन राशि राशि में स्थित हो ,तो स्वग्रही अथवा स्वक्षेत्री कहा जायेगा | किन्तु कन्या राशि - के -1 से 18 अंश तक बुध का मूल त्रिकोण तथा उससे आगे 19 से 30 अंश तक स्वक्षेत्र माना जाता है | कन्या राशि के 15 अंश तक बुध उच्च का तथा मीन राशि के 15 अंश तक नीच का होता है |
---इस प्रकार यदि बुध कन्या राशि में स्थित हो ,तो वो कन्या राशि के 1 से 15 अंश तक उच्च का और इसके साथ ही -1 से 19 अंश तक मूल त्रिकोण स्थित तथा 19 से 30 तक स्वक्षेत्री होता है |
----ध्यान दें --अगले ग्रहों के बारे अगले भाग में लिखेंगें --- --भवदीय निवेदक खगोलशास्त्री झा मेरठ --जीवनी की तमाम बातों को पढ़ने हेतु इस ब्लॉकपोस्ट पर पधारें ---khagolshastri.blogspot.com







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